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मध्य प्रदेश में एनसीईआरटी विवाद मामले में बवाल बढ़ता जा रहा है है। एनसीईआरटी के कक्षा 3 पर्यावरण पुस्तक आसपास में ‘चिट्ठी आई है’ नामक पाठ को लेकर खजुराहो के रहने वाले डॉक्टर राघव पाठक ने शिकायत दर्ज कराई। शिकायत करते हुए उन्होंने बताया की इस पाठ में लव जिहाद को बढ़ावा दिया गया है। मामला अब तूल पकड़ता नजर आ रहा है।
बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने भी इसका विरोध जताया है। पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने कहा, अहमद की जगह आकाश, अविनाश, आदर्श को रीना ने चिट्ठी क्यों नहीं लिखी? अबोध बच्चों के मन में गंदे विचार भरे जा रहे है। उन्होंने सरकार से मांग की है कि इस किताब को वापस लिया जाए।
दरअसल एनसीईआरटी की कक्षा तीसरी की पुस्तक में लव जिहाद जैसे मामले की बात तूल पकड़ती जा रही है। बागेश्वर धाम पीठाधीश्वर पं. धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने कहा कि अबोध बच्चों के मन में बचपन से ही गंदे विचार भरे जा रहे हैं। उन्होंने सवाल उठाया कि क्या अहमद के स्थान पर अविनाश, आदर्श, आकाश जैसा नामों का इस्तेमाल क्यों नहीं किया गया। रीना ने अहमद को ही पत्र क्यों लिखा? किताब में इस तरह की सामग्री दिए जाने के पीछे भी कोई मकसद हो सकता है। धीरेंद्र शास्त्री ने सभी किताबों को वापस मंगाकर इस तरह के चैप्टर को तुरंत हटाने की मांग की है।
बागेश्वर धाम पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने पुस्तक के एक चैप्टर पर जताई गई आपत्ति के बारे में कहा कि धर्म विरोधियों की ताकत लगातार हावी हो रही है। 100 करोड़ हिंदुओं की भावनाओं से खिलवाड़ किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि चिट्ठी के प्रारूप को समझने में जिस तरह की भाषा इस्तेमाल की गई है उससे तमाम तरह के प्रश्न खड़े हो रहे हैं। कक्षा तीन में पढ़ने वाली हिंदू लड़की आखिर मुसलमान लड़के को पत्र क्यों लिखे? छोटे बच्चों में इस तरह की भावनाएं विकसित करने वालों के खिलाफ कठोर कानूनी कार्यवाही होनी चाहिए।
धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने कहा कि इस तरह के षडयंत्रों को नाकाम करने और षड्यंत्रकारियों को कुचलने के लिए किसी एक व्यक्ति की जिम्मेदारी तय नही की जा सकती । देश के सभी हिंदुओं को एक स्वर में ऐसी ताक़तों के खिलाफ आवाज उठानी होगी।
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