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अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव को लेकर अब गिनती के दिन रह गए हैं। आगामी नवंबर महीने में डेमोक्रेटिक उम्मीदवार कमला हैरिस और रिपबल्किन उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप के बीच कड़ा मुकाबला है। सर्वेक्षणों में कहीं ट्रंप तो कहीं कमला हैरिस बाजी मार रही है। आज 29 सितंबर को सिल्वर स्टेट नेवाडा में कमला हैरिस की रैली है, इससे पहले लास वेगास में डोनाल्ड ट्रंप की नग्न तस्वीर देखी गई। लास वेगास नेवाडा में सबसे अधिक आबादी का शहर है। बताया जा रहा है कि फोम से बनी ट्रंप की इस विशाल प्रतिमा को आगामी कुछ समय के लिए ऐसे ही प्रदर्शित किया जाएगा और कथित तौर पर जिम्मेदार टीम ने ऐलान किया है कि आगामी नवंबर महीने में चुनाव से पहले इसे देशभर में फैलाया जाएगा।
डोनाल्ड ट्रंप की 43 फीट ऊंची प्रतिमा करीब 2800 किलो वजनी है और फोम से बनी है। यह पहली बार नहीं है, इससे पहले साल 2016 में भी अमेरिका के 6 शहरों में डोनाल्ड ट्रंप की आदमकद नग्न प्रतिमाएं लगाई गई थीं। तब भी इसने खूब चर्चाएं बटोरी थी और ट्रंप समर्थकों ने जमकर बवाल काटा था। नवंबर में होने वाले चुनाव से पहले ट्रंप की नग्न तस्वीरों से एक बार फिर बवाल की आशंका बढ़ गई है।
मीडिया आउटलेट TMZ ने बताया कि ट्रम्प की प्रतिमा शुक्रवार शाम को स्थापित की गई थी और उम्मीद है कि यह कुछ समय तक ऐसी ही रहेगी और इसे अमेरिका के अन्य शहरों में भी प्रदर्शित किया जाएगा। इसे बनाने वाली टीम का कथित तौर पर कहना है कि आगामी नवंबर चुनाव के बारे में चर्चा को बढ़ावा देने के लिए यह कदम उठाया गया है। इस कलाकृति को ट्रंप समर्थक अश्लील और बेहद घिनौना कृत्य बता रहे हैं।
सोशल मीडिया पर वायरल हुई तस्वीरें
सोशल मीडिया पर डोनाल्ड ट्रंप की नग्न तस्वीरें वायरल हो गई हैं। अधिकांश ने इसे चुनाव के लिए बेहूदा स्टंट करार दिया है। इस प्रतिमा की निंदा भी की है। एक यूजर ने टिप्पणी की, ““मैं इस आदमी के लिए मतदान कर रहा हूं!!!” एक अन्य ने ट्रंप की तस्वीर का मजाक उड़ाते हुए डेमोक्रेट के समर्थन में वोट की अपील की है।
ट्रंप चुनाव हारे तो दंगों की आशंका
जानकारों का कहना है कि शुरुआती सर्वेक्षणों और पहली डिबेट के बाद कमला हैरिस का पलड़ा डोनाल्ड ट्रंप पर भारी है और अगर ट्रंप 2024 का राष्ट्रपति चुनाव हार जाते हैं तो क्या अमेरिकियों को रक्तपात के लिए तैयार रहना चाहिए? अमेरिकी राजनीति का अध्ययन करने वाले एक विश्लेषक का कहना है कि मैं आसानी से कल्पना कर सकता हूं कि नवंबर के राष्ट्रपति चुनाव के बाद दंगे भड़कने की संभावना है। छह जनवरी 2021 को ‘कैपिटल विद्रोह’ की पुनरावृत्ति हो सकती है या उससे भी बदतर स्थिति हो सकती है।
बता दें कि चार साल पहले, 2020 के राष्ट्रपति चुनाव में अपनी हार को पलटने के प्रयास में तत्कालीन राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और उनके सहयोगियों ने इसके परिणामों को उग्र रूप से चुनौती दी थी। 63 मुकदमे दायर करके ट्रंप और उनके सहयोगियों ने नौ राज्यों में मतगणना, चुनाव प्रक्रिया और प्रमाणन मानकों को बदनाम करने या उन पर अंकुश लगाने का प्रयास किया।
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